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JNU पर ABVP के हमले के बाद बोले कन्हैया - आप जितना दबाओगे, उतनी ज़ोर से ये दोबारा उठ खड़े होंगे !

Kanhaiya Kumar on JNU Attack JNU में ABVP के हमले के बाद पूर्व JNU अध्यक्ष कन्हैया कुमार ने अपने फेसबुक वाल पर लिखा की - कितनी बेशर्म सरकार है, पहले फ़ीस बढ़ाती है, विद्यार्थी विरोध करें तो पुलिस से पिटवाती है और छात्र तब भी ना झुके, तो अपने गुंडे भेजकर हमला करवाती है। जब से सत्ता में आए हैं, तब से देश के हर कोने में देश के विद्यार्थियों के ख़िलाफ़ इन्होने जंग छेड़ रखी है। सुनो साहेब, TV से जितना झूठ फैलाना है, फैला लो! जितना बदनाम करना है, कर लो! इतिहास यही कहेगा कि आपकी सरकार ग़रीबों के बच्चों के पढ़ने के ख़िलाफ़ थी और देश के विद्यार्थी आपकी इस साज़िश के ख़िलाफ़ उठ खड़े हुए क्योंकि उनकी रगों में गांधी, अम्बेडकर, भगतसिंह और अश्फ़ाक का ख़ून है। आप आज के द्रोणाचार्य तो बन गए लेकिन याद रखिए 21 वी सदी का एकलव्य आपको अपना अँगूठा नहीं देगा और सर फुडवाना और कटवाना मंज़ूर करेगा। आप हिंसा कराकर अलीगढ़ और जामिया की तरह जेएनयू को भी बंद कराना चाहते है, इस साज़िश को विद्यार्थी बख़ूबी समझते हैं। फिर कहता हूँ, जितना दबाओगे, उतनी ज़ोर से ये दोबारा उठ खड़े होंगे और आपकी संविधान औ

JNU की फीस बढ़ाना ज़रूरत या साज़िश? पढ़िए कन्हैया कुमार का Latest ब्लॉग

           फीस बढ़ाना ज़रूरत या साज़िश? जेएनयू की फ़ीस बढ़ाकर और लोन लेकर पढ़ने का मॉडल सामने रखकर सरकार ने एक बार फिर साफ़ कर दिया है कि विकास की उसकी परिभाषा में हमारे गाँव-कस्बों के लोग शामिल ही नहीं हैं। जिन किसान-मजदूरों के टैक्स के पैसे से विश्वविद्यालय बना, उनके ही बच्चों को बाहर का रास्ता दिखाया जाएगा तो देश के युवा चुप बैठेंगे, ऐसा हो ही नहीं सकता। सरकार अभी सब कुछ बेच देने के मूड में है। देश के लोगों के टैक्स के पैसे से बने सरकारी उपागम लगातार निजी क्षेत्र के हवाले किए जा रहे हैंI हर साल दिल खोलकर अमीरों के करोड़ों अरबों रु के लोन माफ़ करने वाली ये सरकार सरकारी शिक्षण संस्थानों के बजट में लगातार कटौती कर रही है और शिक्षा को बाज़ार के हवाले कर रही हैI सरकारी स्कूलों की हालत किसी से छुपी नहीं है और निजी स्कूल देश की बहुसंख्यक आबादी के बजट से बाहर हो चुके हैंI दम तोड़ते इन्ही सरकारी स्कूलों से पढ़कर अखिल भारतीय प्रवेश परीक्षा पास करके जब गरीबों के बच्चे देश के सर्वश्रेठ विश्वविद्यालय में पहुच रहे हैं तो ये बात भी देश के करोडपति सांसदों और सरकार के राग-दरबारियों को अखर रही हैI

आज रोहित वेमुला का स्मृति दिवस है, कन्हैया ने कहा - वेमुला का कद आज किसी तारे से कम नहीं है...

Kanhaiya Kumar on Rohit Vemula आइए, आज 17 जनवरी को रोहित वेमुला का स्मृति दिवस मनाते समय हम कुछ चीज़ों को नहीं भूलने का वादा करें। सबसे पहले हमें यह नहीं भूलना है कि रोहित वेमुला की सांस्थानिक हत्या करने वाले वीसी पी. अप्पा राव को मोदी सरकार ने तमाम साज़िशें करके जेल जाने से बचाया। इस काम में उनकी मदद करने वाले मंत्रियों बंडारू दत्तात्रेय और स्मृति ईरानी के ख़िलाफ़ भी कानूनी कार्रवाई नहीं होने दी गई। इस बात को भी नहीं भूलना है कि रोहित वेमुला के लिए न्याय की माँग कर रही राधिका वेमुला को दिल्ली की सड़कों पर घसीटा गया। भूलना तो यह भी नहीं है कि मोदी सरकार ने सैकड़ों सरकारी स्कूल बंद करके और विश्वविद्यालयों में उच्च शिक्षा की सीटों में कटौती करके न जाने कितने रोहितों के सपनों की हत्या कर दी है। यह बात भी भूलने लायक नहीं है कि जब रोहित वेमुला हमारे बीच नहीं रहे तब दोषियों को सज़ा देने के बदले सरकार ने सारा ध्यान इस बात पर लगाया कि रोहित वेमुला की जाति क्या थी। काश रोहित वेमुला के जाने के बाद उन्हें "भारत माता का लाल" कहने वाले मोदी जी को उनकी माँ र

अखिलेश यादव से JNU छात्रसंघ अध्यक्ष एन0साई0 बालाजी और दिल्ली आईसा की प्रदेश अध्यक्ष सुश्री कंवलप्रीत कौर ने मुलाकात की !

अखिलेश यादव से JNU छात्रसंघ अध्यक्ष  एन0साई0 बालाजी और दिल्ली आईसा की प्रदेश अध्यक्ष सुश्री कंवलप्रीत कौर ने मुलाकात की  समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष श्री अखिलेश यादव से जवाहर लाल नेहरू यूनिवर्सिटी नई दिल्ली (जे0एन0यू0) के छात्रसंघ अध्यक्ष श्री एन0साई0 बालाजी और दिल्ली आईसा की प्रदेश अध्यक्ष सुश्री कंवलप्रीत कौर ने मुलाकात किया। इस अवसर पर छात्र नेताओं ने पूर्व मुख्यमंत्री श्री अखिलेश यादव को धन्यवाद प्रकट करते हुए कहा कि पिछली समाजवादी सरकार में श्री अखिलेश यादव ने छात्रों-नौजवानों के हित में कई नीतिया बनायी थी। रोजगार की व्यवस्था के साथ बेरोजगारी भत्ता, युवाओं को लैपटांप वितरण और शिक्षा-व्यवस्था के सुधार की दिशा में किये गये कई महत्वपूर्ण फैसले श्री अखिलेश यादव के कुशल नेतृृत्व की ही देन है। छात्र नेताओं ने समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष श्री अखिलेश यादव से 7 फरवरी को दिल्ली में लालकिला से संसद तक ‘यंग इंडिया अधिकार मार्च‘ में समर्थन का अनुरोध भी किया। श्री यादव से छात्र-नेताओं ने फरवरी में प्रस्तावित मार्च के प्रमुख बिन्दुओं जिसमें सरकार द्वारा तत्काल रिक

Kanhaiya Kumar Views on Rabindra Nath Tagore

आज गुरुदेव रबीन्द्रनाथ टैगोर की जयंती है, सबसे पहले उनको नमन। कहते हैं कि शासक जब इतिहास बोध से शून्य हो तब जनता को इतिहास पर पैनी नजर रखनी चाहिए क्योंकि निकम्मा शासक वर्तमान में जिंदा लोगों के सवालों को इतिहास के गड़े मुर्दे उखाडकर ढंकने की कोशिश करता है। आज मैं आपका ध्यान टैगोर के राष्ट्रवाद और सघियों द्वारा राष्ट्रगान के विरोध पर आकर्षित करवाना चाहता हूँ। गुरुदेव ने राष्ट्र को शीशा और मानवता को हीरा बताया। उन्होनें कहा कि “मैं हीरे के दाम में शीशा नहीं खरीदूंगा, मैं हमेशा  मानवतावाद को राष्ट्रवाद से ऊपर मानता हूँ।” यदि आज वह ये बात बोलते तो सत्ता में बैठे लोग जो उनको नमन कर रहे हैं, तुरंत उनको एंटी-नेशनल या देशद्रोही बोल देते। आखिर क्या मजबूरी है कि तिरंगा और 'जन-गण-मन' का विरोध करने वाले लोग आज उस पर अपनी सत्ता टिकाए हुए हैं। दरअसल इनका ख़ुद का इतिहास आजादी की लड़ाई से गद्दारी का है, इसलिए इनको उन्हीं का झूठा सम्मान करना पड़ता है जिनको इतिहास में इन्होनें गालियां दी है। आपको बता दूँ कि संघियों ने कहा था कि 'जन-गण-मन' हमारा राष्ट्रगान नहीं हो सकता क्योंकि यह

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